भोपाल l उद्यानिकी एवं सामाजिक न्याय दिव्यांगजन कल्याण मंत्री श्री नारायण सिंह कुशवाह ने कहा है कि समृद्ध मध्य प्रदेश के लक्ष्य को प्राप्त करने में उद्यानिकी एक महत्वपूर्ण घटक है। नवीन तकनीकी का उपयोग करके इस लक्ष्य को प्राप्त किया जा सकता है। उन्होंने यह बात उद्यानिकी एवं खाद्य प्रसंस्करण विभाग द्वारा आयोजित "आधुनिक तकनीकी से उद्यानिकी का समग्र विकास" विषय पर आयोजित दो दिवसीय कार्यशाला के उद्घाटन अवसर पर कहीं।

मंत्री श्री कुशवाह ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी कि विकसित भारत के संकल्प की पूर्ति के लिए आवश्यक है कि किसान को समृद्ध ओर खुशहाल बनाया जाए। उन्होंने कहा कि किसान भाई कृषि के साथ उद्यानिकी गतिविधियों से जुड़कर अपनी आय को दुगना कर सकते है। ऐसे किसान जिनके पास एक या दो एकड़ भूमि है वह परंपरागत फसलों के स्थान पर उद्यानिकी और फ्लोरीकल्चर जुड़कर अधिक मुनाफा कमा सकते हैं। मंत्री श्री कुशवाह ने कहा मध्य प्रदेश सरकार के उद्यानिकी विभाग का दायित्व है कि वह किसानों को नवीन तकनीकियों और नवीन शोध के विषय में विस्तार से बतलाएं। उन्होंने कहा कि दो दिवसीय कार्यशाला आयोजित करने का मूल उद्देश्य कृषि विशेषज्ञों के माध्यम से आए सुझावों को विभाग की कार्य योजना में सम्मिलित करना है। 

प्रमुख सचिव श्री सुखबीर सिंह ने कहा कि कार्यशाला के माध्यम से उद्यानिकी फसलों के उत्पादन, प्रबंध, प्रसंस्करण और मार्केटिंग जैसे विषयों पर विशेषज्ञों की सलाह ली जाएगी। उद्यानिकी के क्षेत्र में महिला कृषकों की भागीदारी कार्यशाला का महत्वपूर्ण विषय रखा गया है। उन्होंने कहा कि नई दिल्ली से कृषि विशेषज्ञ श्री भास्कर रेड्डी, बेंगलुरु के श्री राघवन, यू पी एल के श्री जगदीश विरथरे, वाराणसी के वैज्ञानिक डॉक्टर शैलेश कुमार तिवारी, नागपुर के वैज्ञानिक डॉक्टर आरके सोनकर, डॉक्टर के.सी. राव सहित अन्य विशेषज्ञ इस दो दिवसीय कार्यशाला में अपने विचार रखेंगे। उन्होंने कहा कि कार्यशाला के निष्कर्ष पर एक रिपोर्ट तैयार कर विभाग की आगामी कार्य योजना मनाई जाएगी। कार्यशाला में संचालक उद्यानिकी श्री एल. सैलवेन्द्रम सहित विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।